दिलों के बीच न दीवार है न सरहद…

सरहद की गुस्‍ताखियों से बीएसएफ के जवानों ने बचाया अनजान कदम  

अनजाने में अंर्तराष्‍ट्रीय सीमा पार कर रहा था बच्‍चा, परिजनों को सौंपा

पवन शुक्‍ल, सिलीगुड़ी

भारत-बंगलादेश। दो ऐसे मुल्क, जो एक ही जमीन के टुकड़े से बने पर, उस ज़मीन पर सरहद की खिंची एक लकीर से जहां दूरियां बढ़ गई। लेकिन बचपन इन दूरियों से अनजान होता है। बचपन में दिल में मोहब्बत होती है, सरहदों की सीमाओं से अनजान हो, तो अगर दिल तो बच्‍चा है, उस पर भला किसका ज़ोर चला है।
वो कहते हैं न,
'दिलों के बीच न दीवार है न सरहद है
दिखाई देते हैं सब फ़ासले नज़र के मुझे'
ज़फर सहबाई के इस शेर ने बचपन के प्‍यार को खूब समझाया है।  

यह कहानी है 11 वर्षीय रशीदुल इस्लाम पुत्र तबीबार रहमान, निवासी गांव 108 छोटा कुचलीबाड़ी, पुलिस स्टेशन कुचलीबाड़ी, जिला-कूचबिहार के रहने वाले की। रशीदुल को भारत-बंगलादेश की अंर्तराष्‍ट्रीय सीमा का ज्ञान नहीं है। वह भारतीय सीमा से घूमते हुए बंगलादेश की सीमा की ओर जा रहा था। कि अचानक उसके उपर सीमा सुरक्षा बल(बीएसएफ) के जवानों की नजर पड़ी। जवानों ने दौड़कर रशीदुल को पकड़ कर उसके घर का नाम पता पूछ कर उसको उसके परिजनों के हवाले कर दिया।

मालूम हो कि भारत-बंगलादेश की अंर्तराष्‍ट्रीय सीमा कहीं बाड़ से लैस है तो कही खुली सीमा होने के कारण बच्‍चों को सीमा का पता नहीं चल पाता है। जिसके कारण आए दिन इस तरह की लोग दोनों देशों की ओर से अनजाने आ जाते हैं। हलांकि दोनों देशों क बीच मित्रता के संबध के कारण इस तरह के आवगमन को आपसी सहमती से एक दूसरे देश को सौंप दिया जाता है।

बीएसएफ ले जारी प्रेस विज्ञप्ति में बताया कि 22 सितंबर 2021 को, उत्तर बंगाल फ्रंटियर, सीमा सुरक्षा बल के महानिरीक्षक रवि गांधी के गतिशील नेतृत्व में पश्चिम बंगाल के कूच बिहार जिले में भारत-बांग्लादेश सीमा पर तैनात एडहॉक-IV बटालियन के सीमा चौकी कुचलीबाड़ी के सतर्क जवानों ने 01 भारतीय बच्चे को अनजाने में भारत बांग्लादेश की अंतरराष्ट्रीय सीमा पार करने से बचाया। बच्चे की पहचान रशीदुल इस्लाम (11 वर्ष) पुत्र तबीबार रहमान, निवासी गांव 108 छोटा कुचलीबाड़ी, पुलिस स्टेशन कुचलीबाड़ी, जिला-कूचबिहार (पश्चिम बंगाल) के रूप में की गई । इंसानियत तथा सदभावना के तौर पर बच्चे को उसके माता-पिता को सौंप दिया गया। सीमा सुरक्षा बल के सीमा पर रहने वाले ग्रामीणों के साथ सौहार्दपूर्ण और मैत्रीपूर्ण संबंध हैं। इस प्रकार का मानवीय कृत्य निश्चित रूप से सीमा सुरक्षा बल और सीमावर्ती आबादी के बीच मित्रता और आपसी विश्वास को और बढ़ाएगा।

बीएसएफ ने ऑपरेशन चलाकर मवेशी, फेनसेडिल, गांजा किया जब्त

वहीं दूसरी ओर 21 से 23 सितंबर 2021 तक, उत्तर बंगाल फ्रंटियर, सीमा सुरक्षा बल  की अंडर कमांड बटालियनों के जवानों ने अपने सीमावर्ती क्षेत्रों में विशेष तस्करी विरोधी अभियान चलाया। जिससे राष्ट्र विरोधी तत्वों के तस्करी तथा नापाक मंसूबों को विफल किया जा सके। सीमा सुरक्षा बल के जवानों ने विभिन्न सीमावर्ती क्षेत्रों से 26 मवेशी, 1051 बोतल फेंसेडिल, 01 किलोग्राम गांजा और अन्य विविध सामग्री जब्त की। जब्त किए गए सामानों की कुल कीमत 5,37,479 रुपये है। उपरोक्त वस्तुओं को सीमा सुरक्षा बल के जवानों ने उस समय जब्त किया जब तस्कर इन वस्तुओं को भारत से बांग्लादेश ले जाने की कोशिश कर रहे थे।