घुसपैठ की कोशिश नाकाम, बीएसएफ ने 07 को दबोचा

आए दिन भारत-बंगलादेश की अंर्तराष्‍ट्रीय सीमा से अवैध घुसपैठिए हो रहे गिरफ्तार

न्‍यूज भारत, कोलकता : भारत-बंगलादेश की अंर्तराष्‍ट्रीय सीमा से लगातार घुसपैठ की कोशिश जारी है। लेकिन सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के जवानों की सतर्कता रंग ला रही है और घुसपैठियों के मंसूबों पर पानी फिर रहा है। जब 28 अगस्त, 2021 को जिला नदिया के सीमावर्ती इलाके में सीमा सुरक्षा बल ने छः बांग्लादेशी नागरिकों और एक भारतीय चालक को गाडी के साथ जो उनकी अवैध मदद करने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया।

बीएसएफ ने एक बयान में बताया की 28 अगस्त को तकरीबन  02.45 बजे खुफिया इनपुट के आधार सीमा चौकी सिलबेरिया के सतर्क जवानों ने दो लोगो को हिरासत में लिया। हालाकि उनके चार से पांच साथी घने अंधेरे और घनी वनस्पति की आड़ लेकर मौके से भाग निकले। जिसके उपरांत खुफिया शाखा ने अपने विश्वसनीय सूत्रों को भाग निकले लोगों के बारे में जानकारी जुटाने के लिए निर्देशित किया। इधर पकड़े गए व्यक्तियों ने पूछताछ में बताया की छोटी चुपडिया के रहने वाले हैदर मंडल और बड़ी चुपड़िया के रहने वाले अशरफुल सरदार नाम के दोंनो दलालों की मदद से उन्होंने अंतराष्ट्रीय सीमा को पार किया है। अशरफुल के बारे में जानकारी प्राप्त हुई कि वह तकरीबन आठ साल पहले भारत आकर रहने लगा और उसने भारतीय महिला से शादी कर रखी है। अशरफुल और उसका भाई जो कि बंग्लादेश में रहता है दोनों मिलकर गैर कानूनी तरीके से लोगों को सीमा पार कराने में मदद करते हैं ।

बीएसएफ को चकमा देकर भाग निकले लोगों के बारे में खुफिया शाखा को जानकारी मिली कि चार लोग गांव छोटी चुपडिया में हैदर मंडल के घर रुके हुए हैं। जल्द ही एक सफेद रंग की बोलेरो गाड़ी में छोटी चुपडिया से स्टेट हाईवे 09 से बनगांव की ओर जाने वाले हैं। सूचना के आधार पर सीमा चौकी सिलबेरिया के जवानों ने छोटी चुपडिया लिंक रोड पर एक विषेश घात लगाकर चालक सहित पांच लोगों को दबोच लिया पकड़े गए व्यक्ति की पहचान आशमा बेगम (30),  राशिद मिया(32), मिसर सरदार(37), अमीर हजमा सिखदर (24), खेरुल सेख(29), तानिया(27) के रूप में हुई जोकि बंग्लादेश के जिला जेसोर और नरेल के रहने वाले हैं। वही चालक नदिया जिले के थाना गगनापुर के गांव बलिया डांगा  का रहने वाला है जिसका नाम थन्नम मंडल(28) है। पूछताछ करने पर पता चला कि पकड़े गए सभी बांग्लादेशी नागरिक 5 से 15 साल पहले गैर कानूनी तरीके से भारत आकर नवी मुंबई और अहमदाबाद आदि शहरों में अलग अलग काम करते थे। कुछ दिनों पहले सभी अपने परिवार और रिश्तेदारों से मिलने के लिए बंग्लादेश गए थे। आगे सभी ने स्वीकार किया कि उन्होंने  भारतीय दलाल हैदर मंडल को 10 से 15 हजार रुपए सीमा पार कराने के लिए दिए हैं। वही पकड़े गए चालक ने बताया कि पकड़ी गई बलेरो गाड़ी सईफुल की है और वह दो महीने से इसे चला रहा है। आगे उसने खुलासा किया कि यह विशेष हैदर मंडल के काम के लिए तैयार रहती है। हैदर इसमें बांग्लादेशी नागरिकों को बनगांव छोटी चुपडिया  तक लाता ले जाता है।गिरफ्तार किए गए व्यक्तियों को आगे की कानूनी कार्यवाही हेतु पुलिस थाना हंसखली को सौंप  दिया गया।

भारत में रह रहे बांग्लादेशी परिवार को बीएसएफ ने पकड़ा

वहीं दूसरी ओर दक्षिण बंगाल सीमांत के अन्तर्गत सीमा सुरक्षा बल ने जिला नदिया के सीमावर्ती इलाके में बांग्लादेशी परिवार के पांच सदस्यों को गैर कानूनी तरीके से सीमा पार करने की कोशिश में गिरफ्तार कर लिया। बीएसएफ को 27 अगस्त,  2021 की देर शाम 08 वीं वाहिनी की सीमा चौकी महेंद्रा ने खुफिया शाखा की सूचना के आधार पर एक विशेष अभियान में पांच लोगों को हिरासत में ले लिया। पूछताछ में निकल कर आया कि पकड़े गए व्यक्ति का नाम  मोहमद फरदीन(उम्र 44 वर्ष), है और  उसकी पत्नी आयशा(उम्र 29 वर्ष), उसके दो बेटे मोहमद इमरान (उम्र 10 वर्ष), मोहमद इरफान (उम्र 07 वर्ष), और एक बेटी अफ़रीन (उम्र 05 वर्ष) भी साथ में है। जोकि बांग्लादेश के जिला खुलना के थाना सोनडांगा के अंतर्गत आने वाले खुलना के रहने वाले हैं । पूछताछ के दौरान मोहमद फरदीन और उसकी पत्नी आयशा ने बताया कि वे 2007 में भारत के लोनी, गाजियाबाद में आकर रहने लगे थे। दिल्ली के हजरत निजामुद्दीन में कचरा बीनने का काम करते थे। आज आयशा के मां की बीमारी के चलते वे बंग्लादेश जा रहे थे। आगे उन्होंने बताया कि रवि नाम के भारतीय दलाल को सीमा पार कराने के लिए उन्होंने 36000/ रूपये दिए हैं। गिरफ्तार किए गए व्यक्तियों को आगे की कानूनी कार्यवाही हेतु पुलिस थाना हंसखली के हवाले कर दिया गया।

जवानों को मिली दो बड़ी सफलता के बावत 8 वीं वाहिनी के कमांडिंग ऑफिसर संजय सिंह ने बताया कि भारत - बांग्लादेश सीमा पर घुसपैठ को रोकने के लिए सीमा सुरक्षा बल कड़े कदम उठा रही हैं। जिससे इस प्रकार के अपराधों में लिप्त व्यक्तियों , दलाल और उनके सहयोगियों को काफी मुश्किल का अनुंभव हो रहा हैं और उनमें से कुछ पकड़े जा रहे हैं और उन्हें कानून के मुताबिक सजाएं हो रही हैं । हलांकि दोनों मामलों में जवानों को मिली सफलता ने साबित कर दिया है कि जवान सीमा पर चौकस है। वहीं अपने कर्तव्‍यों के प्रति सजग है।