एशोसिएशन की मंशा पर उठा सवाल, कहा-चार दिन क्यों बंद हुर्इ थी मंडी
पार्षद ने कहा- जब रेगुलेटेड मार्केट बंद हो सकता तो खालपाड़ा क्यों नहीं
स्थानिय निवासी व कुछ व्यापारियों ने बंद किए अपने प्रतिष्ठान, कम दुकाने खुली
न्यूज भारत, सिलीगुड़ीः कोरोना के बढ़ते संक्रमण ने अब लोगों को खुद जगा दिया। हलांकि आज कल की अपेक्षा सड़कों पर आवागमन कम रहा। बावजूद इसके अभी सर्तकता बरतने की जरूरत है। इधर गल्ला मंडी खालपाड़ा भी बिना किसी आदेश के करीब 70 से 80 प्रतिशत दुकानों को बंद रखा गया है। कुछ दुकानें खुली है। इधर खालपाडा मंडी को लेकर स्थानिय लोगों ने मर्चेंट एसोशिएशन पर उठाया सवाल। लोगों का कहना है कि जब आवश्यक वस्तु में सब्जी भी आती है। वहां कोरोना होने के बाद रेगुलेटेड मार्केट को बंद कर दिया गया तो खालपाडा को क्यों नहीं बंद किया जा रहा है। दार्जिलिंग जिला भाजपा की उपधयक्ष व खालपाडा की पूर्व पार्षद सविता अग्रवाल ने भी कहा कि यह सिर्फ बाजार नहीं है, यहां परिवार भी रहते हैं। इसलिए मानवता के आधार पर खालपाडा को भी लाकडाउन के दायरे में रखा जाना चाहिए। क्योंकि लेबर जो भी आता है संतोषीनगर व गंगानगर से ये क्षेत्र पहले से कोरोना के सबसे अधिक संक्रमित जोन में है। उन्होंने बताया कि पता नहीं चल रहा है। लेकिन खालपाडा में कोरोना का संक्रमण कम नहीं है। प्रशासन को इस पर भी ध्र्यान केन्द्रीत करना चाहिए। वहीं वार्ड 8 की पार्षाद खुशबु मित्तल ने भी कहा कि जब रेगुलेटेड मार्केट बंद हो सकता है तो खालपाड़ क्यों नहीं। हालांकि पार्षद ने स्वयं जाकर अपने वार्ड में लोगों से सर्तक रहने को कहा है। साथ ही स्वयं की सुरक्षा के लिए लोगों से बंद रखने की अपील भी की। पार्षद ने कहा कि सबसे बड़ा सवाल यह है कि खालपाड़ा में जो भी लेबर आते हैं वह वार्ड नंबंर 4 व 5 से हैं, जबिक ये दोनों वार्ड प्रशासन ने पूरी तरह से लाक किया है। उन्होंने कहा क अगर किसी लेबर को बुखार है वह दवा खाकर आता है तो कैसे पता चलेगा वह कोरोना से संक्रमित है। इसलिए प्रशासन व मर्चेंट एसिशाएशन को इस बाजार को कम से कम 15 दिन के लिए लाकडाउन में रखा जाना चाहिए। क्योंकि बाजार के साथ इस पूरी मंडी में व्यापरियों का परिवार भी है, कोरोना इस बाजार में दस्तक दे चुका है। वास्तव में देखा जाय तो खालपाडा रेड जोन में आना चाहिए। आवस्यक वस्तु की चर्चा करते हुए कहा कि जब एसोशिएशन के लोंग कोरोना संक्रमित हुए तो बाजार सेनेटराइज के नाम पर चार दिन के लिए बंद किया गया। जबकि हुआ कुछ नहीं, इस चार दिन में आवस्यक वस्तु की कमी नहीं हुर्इ। एसे में हमारी सबसे अपील है कि खुद को व परिवार को सुरक्षित रखते अपने विवेक से फैसला ले। हलांकि आज शाम को डीएम के साथ बैठक होने वाली है, नतीजे का इंताजार है।