बिगड़ते हालात पर लोगों की राय, नियम तोड़ने वालों पर हो शख्त कार्यवाई
फेसबुक पेज पर पूर्ण लाकडाउन के पक्ष में शतप्रतिशत लोगों की एक राय
सिलीगुड़ी में बाहरी मरीजों के आने पर प्रशासन लगाए प्रतिबंध
पवन शुक्ल, सिलीगुड़ी : बदलते हालात और सिलीगुड़ी की बिगड़ती स्थिति को देखते हुए अब लगता है आत्ममंथन के बाद स्वयं कुछ करने के पक्ष में हैं। मार्च में पूर्ण लाकडाउन के दौरान प्रशासन की सख्ती की बात को नकारते हुए कुछ मुठ्ठीभर लोग जीवन में पहलीबार लाकडाउन के शब्द को समझने के लिए सड़कों पर दिखाई दे रहे थे। हलांकि शोशल मिडिया पर उस समय भी विरोध हो रहा था। लेकिन जैसे-जैसे लकाडाउन बढ़ता गया लोगों को कुछ समझ में आने लगा। अनलाकडाउन प्रथम फिर दूसरा इसमें व्यवस्थाएं सामान्य हुई। लेकिन अनलाकडाउन दो में जब चाइनिज बिमारी (कोरोना) संक्रमण के मामलों ने रफ्तार पकड़ी तो प्रशासन के साथ लोगों के होश उड़ गए। इसी के साथ मौत के आंकडों में भी तेजी से इजाफा हुआ। हलांकि उस समय लाकडाउन में भी अभी करीब 95 प्रतिशत लोगों ने नियमों को पालन किया है। लेकिन अब आम लोगों की राया इस 5 प्रतिशत लोगों के कारण हम क्यों अपने जीवन को खतरे में डाले। इसलिए अब एक सुर से लोंगो की राय है, कि राज्य सरकार के फरमान का सख्ती से पालन हो और पूर्णलाकडाउन कर चाइनिज बिमारी से हर गरीब अमीर को बचाया जा सके। बतातें चलें कि मंगलवार को जब बंगाल सरकार ने एक बड़ा कदम उठाते हुए कोलकाता समेत राज्य के सभी कंटेनमेंट जोन में 9 जुलाई, गुरुवार शाम 5 बजे से एक बार फिर सम्पूर्ण लॉकडाउन की घोषणा की है। कंटेनमेंट जोन में पुलिस प्रशासन को सख्ती से लॉकडाउन का पालन कराने का निर्देश मंगलवार को राज्य के गृह सचिव अलापन बंधोपाध्याय ने आदेश जारी कर सभी जिलाधिकारियों को संपूर्ण लाकडाउन को पूर्णरूप से पालन कराने संबंधी निर्देश दिया है। लाकडाउन के दौरान इन क्षेत्रों में जरूरी सेवाओं को छोड़कर सभी प्रकार की गतिविधियां पूर्ण बंद रहेगी। सरकारी व प्राइवेट सभी ऑफिस, शॉपिंग मॉल, बाजार, दुकानें, औद्योगिक इकाइयां को सम्पूर्ण रूप से बन्द रखने का फैसला लिया गया है। वहीं आवागमन के चालू परिवहन सेवा भी पूरी तरह बन्द रहेगा। लाकडाउन के दौरान सिर्फ अत्यावश्यक दुकानें खुलेंगी, बाकी सभी दुकान, बाजार बंद रहेंगे। राज्य सरकार ने सभी कंटेनमेंट जोन में पुलिस प्रशासन को लॉकडाउन को सख्ती से पालन कराने का निर्देश दिया है। इसके साथ राज्य सरकार ने कंटेनमेंट जोन की अपनी परिभाषा में बदलाव भी किया जा सकता है। कंटेनमेंट जोन को पहले तीन भागों में विभाजित किया गया था जिसमें इफेक्टेड जोन, बफर जोन व क्लीन जोन था। अब इसे मिलाकर सिर्फ कंटेनमेंट जोन कर दिया गया है। सभी कंटेनमेंट जोन में गैर जरूरी गतिविधियों की 9 जुलाई से किसी भी काम के लिए इजाजत नहीं होगी। दरअसल, ये सभी कंटेनमेंट जोन राज्य के 10 जिलों में हैं जिसमें कोलकाता, हावड़ा, उत्तर व दक्षिण 24 परगना, हुगली, मालदा, उत्तर दक्षिण दिनाजपुर, अलीपुरद्वार आदि शामिल है। इनमें खासकर कोलकाता व इससे सटे हावड़ा उत्तर 24 परगना कोरोना से सबसे ज्यादा प्रभावित है। हालांकि सरकार के इस आदेश में सिलीगगुड़ी, दार्जिलिंग, कालिंगपोंग, जलपाईगुड़ी के संबंध में कुछ खास नहीं बताया गया। लेकिन जिलाधिकारियों को निर्देश दिया गया कि वे हालात की समिक्षा कर अपने-अपने क्षेत्र को इस पूर्ण लाकडाउन की प्रक्रिया से बाहर या लाक डाउन में रख सकते हैं। इसी खबर के बाद फेसबुक समेत अन्य शोशल मिडिया पर सिलीगुड़ी पूर्ण लाकडाउन के सर्मथन में मैसेज की भरमार हो गई। वही कुछ लोगों की राय है अन्य जिलों के कोरोना मरीजों को सिलीगुड़ी नहीं लाकर उनके जिले में ही इलाज की व्यवस्था की जाय।
मालूम हो कि फेसबुक पेज के हर वाल पर करीब 15 से 50 कमेंट है, जिसमें से 99 प्रतिशत लोग पूर्ण लाकडाउन के पक्ष में एक प्रतिशत या तो संशय की स्थिति में है या कहते हैं नहीं हो पाएगा।