बीएसएफ,दक्षिण बंगाल ने फिर जब्त किए 15.4 लाख के फेंसेडिल और फिश पिन बॉल्स

एनई न्यूज भारत उत्तर 24 परगना: सीमा सुरक्षा बल ने दक्षिण बंगाल में सीमान्त छेत्र में बीएसएफ सतर्क जवानों द्वारा अभियान चला के तस्करी को फिर से किया विफल।पश्चिम बंगाल के उत्तर 24 परगना व नादिया जिले में सीमावर्ती क्षेत्र पर तस्करी के विभिन्न प्रयासों को विफल किया और 294 फेंसेडिल की बोतलें और 60 फिशपिन ( मछली के बीज) बॉल्स जप्त की । तस्कर जब इन सामानों के साथ भारत से बांग्लादेश में तस्करी करने की कोशिश करते रहे थे। जप्त किये गए सभी सामानों की अनुमानित कीमत 15,41,165/- रूपये है बीएसएफ से मिली सूचना के अनुसार, सीमा चौकी पिपली 05वीं वाहिनी, बीएसएफ के जवानों ने फिश पिन बॉल्स की तस्करी की सूचना मिली और 05/04/24 (4 तारिख की देर रात) की शुरू आत होते ही लगभग 01:10 बजे, बीएसएफ के सतर्क जवानों ने 05 तस्करों की हरकत देखी, जो सोशडांगा झील में तैरते हुए आगे बांग्लादेश जाने के लिए इच्छामती नदी की ओर बढ़ रहे थे। जवानो ने तुरंत उस संदिग्ध इलाके घात लगा दिया, जब तस्कर सोशाडांगा झील के तट पर पहुंचे तो एंबुश पार्टी ने तुरंत बदमाशों को रुकने के लिए चुनौती दी। घात लगाए हुए दल को देखकर तस्कर जलकुंभी,अंधेरे और पानी का फायदा उठाकर रफू चक्कर हो गए। बीएसएफ जवानों को एक प्लास्टिक की थैलियों मिली। जो अफरा तफरी में तस्कर वहीं छोड़ गए। और वह वापस सोशाडांगा झील में तैरकर भाग गए। फिर एम्बुश पार्टी ने इलाके की गहनता से तलाशी ली उस दौरान, जवानों को 17 प्लास्टिक बैग मिले जिनमें 34 फिश पिनबॉल(मछली का बीज ) थे। इसके अलावा, सीमा पर अन्य घटनाओं में, सीमा चौकी कनाई कांती, 118 बटालियन बीएसएफ के जवानों ने 26 फिशपिन बॉल्स जब्त कीं, और सीमा चौकियों मामाभागिना, जीतपुर और झौडांगा के जवानों ने अपने-अपने जिम्मेदारी वाले क्षेत्र से 249 बोतल फेंसिडिल जप्त कीं। जप्त किए गए सामान को आगे की कानूनी कार्यवाही के लिए संबंधित विभाग को सौंपा दिया गया। बीएसएफ के आधिकारी ए.के. आर्य, डीआईजी, दक्षिण बंगाल सीमान्त के जनसंपर्क अधिकारी जवानों की सफलता पर खुशी व्यक्त की । उन्होंने कहा कि यह बीएसएफ जवानों द्वारा ड्यूटी पर दिखाई जा रही सतर्कता का परिचायक है। उन्होंने कड़े शब्दों में कहा कि बीएसएफ के जवान किसी भी हालत में सीमा पर तस्करी या किसी अन्य तरह का अपराध नहीं होने देंगे। उन्होंने आगे कहा कि हमारा खुफिया विभाग इस तस्करी में शामिल लोगों का पता लगा रहा है। पता चलते ही उन्हें हिरासत में लेकर कानूनी कार्रवाई की जायेगी।